विश्व धरोहर कालका-शिमला ट्रैक पर बंद कर दिए 10 स्टॉपेज, रेलवे ने दिया ये तर्क

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शिमला : रेलवे के अनुसार सुबह 3:45 बजे कालका से शिमला के लिए चलने वाली एक्सप्रेस ट्रेन 52457 अब कनोह, कैथलीघाट, शोघी और तारादेवी स्टॉपेज पर नहीं रुक रही है। यह ट्रेन सुबह 8:55 बजे शिमला पहुंचती है।

वहीं, शिमला से जब यह ट्रेन वापस कालका के लिए सुबह 10:55 बजे रवाना होती है तो वापसी में छह स्टॉपेज कैथलीघाट, कुमारहट्टी, सनवारा, कोटि, गुम्मन और टकसाल स्टॉपेज पर यह नहीं रुकती। हिल्स क्वीन शिमला के लिए इसी ट्रेन से स्थानीय लोग सबसे ज्यादा आवाजाही करते हैं।

रेलवे के अनुसार शिमला से वापस रवाना होने वाली यह ट्रेन शाम 4:35 बजे कालका पहुंचती है। इस ट्रेन को एकता एक्सप्रेस से कनेक्टिविटी दी गई है।

एकता एक्सप्रेस शाम 4:55 बजे हरियाणा के भिवानी के लिए चलती हैं। रेलवे के अनुसार सैलानियों को इससे सुविधा हो रही है। इसके अलावा स्टॉपेज खत्म करने से ट्रेन की टाइमिंग भी करीब 15 मिनट घट गई है।

World Heritage Kalka-Shimla track

स्टॉपेज खत्म होने से लोग परेशान

कालका- शिमला हैरिटेज ट्रैक पर कनोह, कैथलीघाट, शोघी, तारादेवी स्टोपेज पर ट्रेन न रुकने से स्थानीय लोग परेशान हैं। कालका से सुबह चलने वाली एक्सप्रेस ट्रेन कैथलीघाट के बाद अब जतोग रेलवे स्टेशन पर ही रुक रही है।

इसके बीच पड़ने वाला कनोह स्टॉपेज अब खत्म कर दिया गया है। यहां ज्यादातर लोग रेल सेवा पर ही आश्रित हैं। कनोह स्टेशन के छह किलोमीटर की दूरी पर सड़क कनेक्टिविटी नहीं हैं।

अन्य स्टेशनों में से सुबह के समय में रेलमार्ग से बड़ी संख्या में लोग उपचार, प्रशासनिक कार्य और ज्यादातर दूध आपूर्ति के लिए शिमला का रुख करते हैँ। स्टॉपेज खत्म होने से आम जनता को आवाजाही के लिए भारी परेशानी झेलनी पड़ रही है।

कालका से शिमला के बीच हैं 18 रेलवे स्टेशन

कालका- शिमला हैरिटेज ट्रैक पर कुल 18 स्टेशन हैं। इनमें कालका, गुम्मन, कोटि, सनवारा, धर्मपुर, कुमारहट्टी, बड़ोग, सोलन, सलोगरा, कंडाघाट, कनोह, कैथलीघाट, शोघी, तारादेवी, जतोग, समरहिल और शिमला शामिल हैं। इन सभी स्टेशनों पर टॉय ट्रेनों को रोका जाता था लेकिन रेलवे विभाग की ओर से कई ट्रेनों के स्टॉपेज खत्म कर दिए गए हैं।

कालका शिमला हैरिटेज ट्रैक पर टॉय ट्रेनों की टाइमिंग घटाने और ट्रेनों की आगे कनेक्टिविटी बढ़ाने के लिए स्टॉपेज खत्म किए गए हैं। इन स्टेशनों पर यात्रियों की संख्या कम होती है। अगर लोगों की डिमांड आती है तो इन स्टेशनों पर ट्रेनों को रोका जाएगा।

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