पत्रकारों को संबोधित करते हुए नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि पूरे प्रदेश में आपदा की वजह से हाहाकार मचा हुआ है और प्रदेश के मुख्यमंत्री सदन और प्रदेश से गायब हैं। इस विषय पर जब सदन में सवाल किया गया तो सरकार द्वारा उसकी गंभीरता से जवाब देने की बजाय राजनीतिक बयान बाजी की गई।
सरकार द्वारा आपदा राहत को लेकर सदन में झूठ बोला गया। इस कारण भाजपा विधायक दल ने वॉक आउट कर अपनी नाराजगी जताई। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि सरकार आपदा को लेकर कितनी गंभीर है इसका अंदाजा मुख्यमंत्री के इस रवैए से ही लगाया जा सकता है कि हिमाचल प्रदेश का एक बड़ा भूभाग पूरी दुनिया से कट गया है।
सड़क और संचार माध्यम ठप पड़े हैं। 2 दिन से लोगों से बात नहीं हो पा रही है लेकिन मुख्यमंत्री दूसरे प्रदेश में राजनीतिक यात्राओं में शामिल हो रहे हैं।
हमारे विधायक बता रहे हैं कि उनका दो दिन से अपने क्षेत्र में बहुत सारी जगह पर संपर्क नहीं हुआ। जिन जगहों पर संपर्क हुआ वहां से एक ही बात सामने आई है कि आपदा प्रभावितों को भगवान के भरोसे छोड़ दिया गया है।
बहुत से आपदा प्रभावित क्षेत्रों में सरकार नाम की चीज दिखाई ही नहीं पड़ी है। संचार सुविधाओं को बहाल करने के लिए केंद्र सरकार ने इंटर सर्कल रोमिंग सुविधा लागू की है।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि कुल्लू ,चंबा, कांगड़ा और लाहौल स्पीति में हजारों लोग सड़के बंद होने की वजह से फंसे हुए हैं। बड़ी संख्या ऐसे लोगों की भी है जो दो-दो दिनों से गाड़ियों में ही फंसे हैं।
मणिमहेश की पवित्र यात्रा अपने अंतिम चरण में थी इसलिए वहां भी भारी संख्या में जगह–जगह लोग फंसे हैं। ऐसे में ज्यादा से ज्यादा संख्या में लोगों को रेस्क्यू करके सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाना सरकार की प्राथमिकता होनी चाहिए थी।
केंद्र सरकार से बात करके ज्यादा से ज्यादा लोगों को एयरलिफ्ट किए जाने के लिए ज्यादा से ज्यादा संख्या में हेलीकॉप्टर प्रदान करने के लिए राज्य सरकार द्वारा केंद्र सरकार से मांग की जानी चाहिए थी।
लेकिन इतनी कठिन परिस्थिति में मुख्यमंत्री राहुल गांधी की गाड़ी पर बैठने को प्राथमिकता दे रहे हैं। जबकि पूरा प्रदेश जानता है कि उन्हें वहां एक शब्द भी रैली में बोलने नहीं दिया जाएगा। प्रदेश हितों को इस तरीके से दरकिनार करके राजनीतिक कार्यक्रमों में व्यस्त हैं।
हिमाचल में जनादेश चोरी कर किस मुंह वोट अधिकार यात्रा निकल रहे हैं सीएम
जयराम ठाकुर ने कहा कि झूठी गारंटियों के नाम पर हिमाचल प्रदेश के लोगों के जनादेश की चोरी करके सरकार बनाने वाले मुख्यमंत्री न जाने किस मुंह से वोट अधिकार यात्रा निकाल रहे हैं।
एक तरफ हिमाचल प्रदेश के लोग उनसे कांग्रेस की 10 झूठी गारंटियों का हिसाब मांग रहे हैं तो दूसरी तरफ हिमाचल के मुख्यमंत्री बिहार में बिना चुनाव के ही चुनाव प्रचार करने में व्यस्त हैं। प्रदेश में विधानसभा सत्र चल रहा है।
विधान सभा के बाहर विभिन्न वर्गों द्वारा रैलियां निकाली जा रही हैं ,नारेबाजी की जा रही है और मुख्यमंत्री प्रदेश के बाहर प्रचार में जुटे हैं।
प्रदेश के विकास की गति को रोक कर, युवाओं की नौकरियां छीन कर, हजारों की संख्या में स्कूल बंद कर शराब के ठेके खोलकर, कर्मचारियों का 13% डीए रोककर, समय पर वेतन न देकर, बीमारों का इलाज रोककर।
अपने ही आला नेताओं द्वारा दी गई गारंटियों को विधानसभा के अंदर झुठला कर, आपदा राहत विशेष पैकेज का पैसा प्रभावितों को न देकर, प्रदेश की जनता को दु:खी कर हिमाचल के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू बिहार जाकर कांग्रेस का कौन सा प्रचार कर रहे हैं, यह समझ के परे है।