जिला कुल्लू की पर्यटन नगरी मनाली में बारिश से जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। जगह-जगह भू-स्खलन के चलते सडक़ों को नुकसान पहुंचा है। वहीं, बाहंग के पास ब्यास नदी का जलस्तर बढऩे पर्यटन और नागरिक उड्डयन का हेलिपैड क्षतिग्रस्त हो गया है। बाहंग में ही नदी के किनारे दुकानों और 30 से अधिक आवासीय भवनों को खाली करवा दिया गा है।
बाहंग में हाल ही में निर्मित अस्थायी पैदल पुल भी बह गया है। बता दें कि बाढ़ आने से बाहंग गांव को खतरा पैदा हो गया है। प्रशासन ने नदी के किनारे बने मकानों और दुकानों को खाली करवा दिया है।
पर्यटन नगरी मनाली में लगातार हो रही भारी बारिश से ब्यास नदी में बाढ़ आ गई है। नदी के किनारे बनाया गया रेस्तरां पहले वाली बाढ़ में थोड़ा बच गया था, लेकिन इस बार पूरी तरह तबाह कर दिया है।
बाहंग निवासी डोला, संजीव, दुर्गा, रूप सिंह व खेम ने बताया कि एक दर्जन से अधिक दुकानें और घर खतरे में हैं। एसडीएम मनाली डा. सुरेंद्र ठाकुर ने बताया ब्यास ने रौद्र रूप धारण किया है। उन्होंने लोगों से आग्रह किया कि नदी किनारे न जाएं।
फिर बह गया पुल
गोशाल गांव में महायज्ञ हो रहा है। पुलिया बह जाने से हजारों श्रद्धालुओं की दिक्कत बढ़ गई है। महायज्ञ की आयोजन कमेटी के अध्यक्ष वेद राम ठाकुर ने बताया कि तीन दिन पहले ही ग्रामीणों ने प्रशासन के सहयोग से अस्थायी पुल बनाया था, लेकिन बाढ़ से फिर से यह पुल बह गया है।
मंडी में ब्यास उफान पर एनएच पर पहुंचा पानी
मंडी जिला में दो दिनों से भारी बारिश के कारण ब्यास नदी ने उफान पर है, जिसके चलते चंडीगढ़-मनाली एनएच पर स्थित थलौट के समीप द्ववाड़ा में ब्यास नदी का पानी सडक़ पर पहुंच गया। इसके चलते पर यातायात पूरी तरह थम गया है। वहीं जलस्तर बढऩे से लारजी डैम के गेट खोल भी दिए गए हैं। इससे ब्यास नदी ने रौद्र रुप धारण लिया है।
शानन प्रोजेक्ट के गेट खोले
मुल्थान बरोट मुल्थान में शनिवार रात से लगातार हो रही बारिश से 110 मेगावाट की शानन परियोजना में जलस्तर बढऩे से बिजली उत्पादन ठप हो गया है। 40 हजार क्यूसिक पानी आने से बरोट में रविवार को आठ डैम के गेट खोल दिए गए।
कुडी नाले ने मचाई तबाही
मुल्थान बरोट से 12 किलोमीटर दूर मुल्थान तहसील के अंतिम छोर भुज्लिंग गांव के पास कुडी नाला में रविवार सुबह बादल फटने से बाढ़ आ गई। नाले का पानी उफान पर होने से भुज्लिंग गांव के 20 बीघा जमीनों में रोपी गोभी , मूली व धनिया की फसल बर्बाद हो गई।
नूरपुर मेें पहाड़ी दरकने से एनएच-154 दो घंटे बंद
नूरपुर नूरपुर राष्ट्रीय राजमार्ग 154 पर ढक्की क्षेत्र में भू-स्खलन से एनएच दो घंटों तक बंद रहा। इससे सडक़ के दोनों तरफ गाडिय़ों की लंबी-लंबी कतारें लगी रहीं। स्थानीय प्रशासन ने छोटे वाहनों को नूरपुर बाजार के रास्ते से आवाजाही शुरू करवाई। दो घंटों की मशक्कत के बाद नेशनल हाई-वे ने नूरपुर में यातायात बहाल कर दिया।
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