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एनएचएआई: शिमला से शालाघाट टू लेन के पहले चरण का सर्वे शुरू, 55 गांव जद में आएंगे

committee will decide the speed for vehicles on Kiratpur-Nerchowk fourlane

नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (एनएचएआई) ने शिमला से शालाघाट के लिए टू लेन का सर्वे शुरू कर दिया है। पहले चरण में शालाघाट से शोघी तक टीम सर्वे कर रही है। इसमें शालाघाट क्षेत्र का सर्वे करीब दो सप्ताह पहले शुरू हो चुका है।

जल्द ही सर्वे पूरा कर इसकी रिपोर्ट एनएचएआई को सौंप दी जाएगी। सर्वे के अनुसार यह राजमार्ग तारादेवी और शोघी के बीच से बनना शुरू होगा।

यहां से होते हुए यह जिला सोलन के अर्की से सात किलोमीटर दूर शालाघाट के पास शिमला मंडी राष्ट्रीय राजमार्ग में मिलेगा। शालाघाट तक इस एनएच की लंबाई करीब 27 किलोमीटर होगी और इसमें जिला शिमला के 51 और सोलन के चार गांव जद में आ रहे हैं।

इसका अभी से इस तरह का सर्वे किया जाएगा ताकि भविष्य में फोरलेन बनाने में भी परेशानी न आए। बताया जा रहा है कि शालाघाट तक एनएच-205 से बाहर इस सड़क को बनाने का निर्णय इसलिए लिया गया कि शालाघाट तक एनएच-205 के आसपास काफी आबादी है। ऐसे में इनको हटाने में काफी दिक्कतें आनी थी। वहीं नए सर्वे के मुताबिक इस मार्ग को कालका-शिमला एनएच से भी जोड़ दिया जाएगा।

शिमला से शालाघाट तक फोरलेन निर्माण का सर्वे शुरू कर दिया गया है। शोघी से तारादेवी के बीच से शुरू होकर यह शालाघाट के पास मिलेगा। जल्द ही सर्वे का काम पूरा कर दिया जाएगा। – मीणा मिन्हास, परियोजना निदेशक एनएचएआई

सितंबर में टू लेन निर्माण का लिया था निर्णय

शिमला-बिलासपुर एनएच को पहले फोरलेन बनाया जाना था। मगर बीते सितंबर माह में नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया और प्रदेश सरकार के मध्य एक बैठक हुई थी, जिसके पश्चात टू लेन सड़क मार्ग बनाने को लेकर निर्णय लिया गया था।

लिहाजा अब सर्वे शुरू हो चुका है। एनएच-205 लोअर हिमाचल के करीब नौ जिलों को राजधानी से जोड़ता है। इस सड़क मार्ग में रोजाना वाहनों की आवाजाही में बढ़ती जा रही है। ऐसे में अब इसमें टू लेन निर्माण किया जाना जरूरी है।

टू लेन की जद में आने वाले गांव

एनएच में जिला शिमला के नागरी, थलकनाल, गवाही, पाबर, मंगलोंज, भरयाल, जमलोग, घुरशाली, टूटू, शकोह, बगागल, कियालो, जडेनी, गाग, बडावनी, रेहल, बाईचड़ी, खनेट, ज्योग, फटेंची, बरोही, खडोल, दैला कंडा, धराथ, परहस्च, चहराह, थनेरी, भुटवा, चरूंड, बलाहू, पंचेती, सेरी, बलोह, करेच, मंजाईला, चंऊरी, जडोग, केशर, भलोगरी, तलैला, घरारू, रापड़ा, शकरोट, गवाही खुरद, मलांगा, पैंचडी, जैजर, धैइला, दोऊणू, नंलोई, जमलोग, जिला सोलन के बथालंग, खिड़ी घाटी, मयाऊण पयोठा, फांवा कनैता आदि शामिल हैं।

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